tag:blogger.com,1999:blog-3857696409871553743.post7974007829816935364..comments2024-03-07T17:45:04.957+05:30Comments on दख़ल की दुनिया: डॉ बिनायक सेन और नक्सलवाद के रिश्ते का सचआलोक श्रीवास्तवhttp://www.blogger.com/profile/08498808385035641834noreply@blogger.comBlogger3125tag:blogger.com,1999:blog-3857696409871553743.post-37809433820473074612008-05-07T12:05:00.000+05:302008-05-07T12:05:00.000+05:30ये चिरंजीवी साहब वाकई अंग्रेजीदा हैं और कट्टर हिं...ये चिरंजीवी साहब वाकई अंग्रेजीदा हैं और कट्टर हिंदूवादी तो अवश्य हैं इसीलिये उन्हॆ खुद से ज्यादा देशप्रेमी और कोई दिखाई नही देता. अच्छा, ऐसे लोगों के पुरखों का संबंध हिटलर के वंशजों से होता है. और मेरा तो दावा है कि इन साहब ने यह पूरा लेख ही नही पढ़ा होगा, वर्ना इतनी अनर्गल टिप्पणी करने से पहले जरा भी सहज बुद्धि अप्लाई करते तो इनकी बातों का जवाब खुद ही मिल गया होता. इन्होंने तो ब्लागवाणी पर पोस्ट के बारे मे देखा होगा और नक्सल शब्द देखकर फटाफट ऊल्टी कर दिया. <BR/><BR/>ऐसे लोगों की वाहियात बातों का जवाब देने का मतलब इनके प्रपंच मे फँसना. बगैर किसी तथ्य के कोई सार्थक बातचीत संभव ही नही हो सकती.<BR/><BR/>चिरंजीवी साहब की टिप्पणी तो प्रोपोगेण्डा का एक हिस्सा है. या हो सकता है कि देशप्रेमी की आड़ मे यह व्यक्ति साम्राज्यवादी देश का कोई खुफ़िया एजेंट हो.Anonymousnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3857696409871553743.post-89831742859083032232008-05-06T10:37:00.000+05:302008-05-06T10:37:00.000+05:30चिरंजीव भाई,शायद आप कोई NRI हैं या किसी मेट्रॊ में...चिरंजीव भाई,<BR/>शायद आप कोई NRI हैं या किसी मेट्रॊ में बैठे कोई निहायत बेवकूफ़ जिसे समाज में क्या हो रहा है,उसकी रत्ती भर खबर नहीं है।अफ़सोस।आप शर्म किजिए ,बिना कुछ जाने बुझे आप कहते है कि सरकारें नक्सलियों के प्रति नरम है और वोट की राजनीति के लिये चापलूस भी।शायद आपका पढ़ने-लिखने से दूर दूर तक कोई वास्ता नहीं है,इसलिये आप अखबार भी नहीं पढ़ते होंगे।अगर पढ़ते होते तो आपको मालूम होता सरकार के नज़र में नक्सली इंसान नहीं होते। रोज़ अखबारों में कहीं न कहीं नक्सलियों की मुठभेड़ी मौत की खबर जरूर छपती है।याद रहे,हमारा देश एक कल्याण्कारी राज्य है और न्याय-व्यव्स्था सुधारवादी...अतएव सरकार का कर्तव्य है कि वह अगर कोई अपराधी है भी तो उसमें सुधार के प्रयास करे,न कि उनकी ह्त्या करते फिरे...<BR/><BR/>बहरहाल जिस आलेख पर आपकी टिप्पणी आयी है...वहाँ इन बातों की कोई प्रासंगिकता नहीं है।बात जब डॉ सेन की हो रही हो तो आप बस जान लें कि जब उन्होंने छत्तीसगढ़ में सरकार द्वारा हो रहे मानवाधिकार का उल्लंघन का पर्दाफ़ाश किया तो खिसियाई बिल्ली बनी छ.ग. सरकार अब तक डॉ सेन को बिना किसी सबूत और ग्वाह हिरासत में रख कर परेशान कर रही है। और न्यायिक कार्यवाही में सिर्फ़ टाल-मटोल की प्रक्रिया चल रही है।पुलिस के पास कुछ है ही नहीं जो डॉ सेन को मिथ्या ही सही नक्सली सिद्ध कर सके। आप पूछिये छ.ग. के गरीब आदिवासियों से कि डॉ सेन कौन हैं...तब आपको पता चलेगा कि कैसे कोई व्यक्ति निस्वार्थ भाव से समाज की सेवा कर सकता है! एक m.b.b.s. टॉपर और बिना फी के गरीब मज़दूरों का इलाज करने वाले डॉ सेन को पैसों के ग़ुलाम(जो अनुपयोगी होने पर अपने माता-पिता को भी छोड़ देते हैं) संदेह के निगाह से देखेंगे जरूर।<BR/>अंत में फिर कहूँगा चिरंजीव जी...पढ़िए...और पॉप कल्चर और फ़ैशन पत्रिकाओ के अलावा कुछ दैनिक अखबारॊं को भी पढ़ें...और उन अखबारों में हो रही सरकारी ह्त्याओं पर ध्यान दें।Anonymousnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3857696409871553743.post-12035128137609826532008-05-06T01:56:00.000+05:302008-05-06T01:56:00.000+05:30Those who do not abide by the rules of country sho...Those who do not abide by the rules of country should be treated as criminals. Government shows laniencey while dealing with such criminals on the name of Naxalite. They have not ethics as far as I know. They loot huge money by terorrising contractors, farmers, industrialists. There are many vote bank sycophants who neither oppose nor support and home minister both state and cabina come under same category. They are the one who are major obstacle in the development of rural India. Look at their money power. They have such sofisticated arms which are not manufactured in India.Such Deshdrohi's has should be brought under rule book. Those who support Naxalites are not human. Look at the pathetic scene of tribal womens whom these naxalites exploit in tribal areas. Its high time Manmohan singh and his sycophants get stop giving statements and reing in such goons.Unknownhttps://www.blogger.com/profile/17929065184830995073noreply@blogger.com