tag:blogger.com,1999:blog-3857696409871553743.post6007243756344228705..comments2024-03-07T17:45:04.957+05:30Comments on दख़ल की दुनिया: मीडिया सच दिखाये, झूठ या अर्धसत्य नहीं :आलोक श्रीवास्तवhttp://www.blogger.com/profile/08498808385035641834noreply@blogger.comBlogger2125tag:blogger.com,1999:blog-3857696409871553743.post-84720472566993249912008-05-29T20:23:00.000+05:302008-05-29T20:23:00.000+05:30मीडिया किसी का भी हित साधने का प्रयास कर रहा हो, व...मीडिया किसी का भी हित साधने का प्रयास कर रहा हो, वह किसी के भी साथ खडा हो, आम आदमी का तो न वह हित देखता है और न ही ख़ुद को उस से जोड़ता है. उस की अपनी दुनिया है. उस की अपनी प्राथमिकताएं हैं. इन्हीं प्राथमिकताओं के रंग में रंग कर वह ख़बर पेश करता है. जो ख़बर जनता तक आती है वह ख़बर नहीं एक कहानी होती है.Suresh Guptahttps://www.blogger.com/profile/02063125570916978516noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3857696409871553743.post-53313854092314635282008-05-29T19:22:00.000+05:302008-05-29T19:22:00.000+05:30सच की भी सीमाये होती है ...एक लकीर जिसे कितना लांघ...सच की भी सीमाये होती है ...एक लकीर जिसे कितना लांघना है ये मीडिया को ही तय करना पड़ेगा....कुछ अधपके सच जिन्हें पका कर दिखाया जाता है ....क्यों उन पर चैनल माफ़ी नही मांगते......डॉ .अनुरागhttps://www.blogger.com/profile/02191025429540788272noreply@blogger.com